नई दिल्ली– पूरा भारत केजरीवाल की एक आदत जिसमे वो जेल गए आप नेताओं के लिए नोबेल मांगते हैं से अवगत है। इसी आदत को बनाए रखते हुए केजरीवाल ने खुद के ED द्वारा पकड़ाए जाने के पहले अपने लिए नोबेल पुरुस्कार की मांग की है।

नोबेल पुरस्कार हर वर्ष उन लोगों और संस्थाओं को प्रदान किया जाता है जिन्होंने रसायनशास्त्र, भौतिकीशास्त्र, साहित्य, शांति, एवं औषधीविज्ञान के क्षेत्र में अद्वितीय योगदान दिया हो। केजरीवाल ने अपने लिए शांति का नोबल मांगा है।

केजरीवाल ने अपने तर्क में कहा “सरकार वैसे भी मुझे जेल भेज कर मुझे शांत करना चाहती है क्योंकि मैं रोज माइक मिलते ही चिल्लाने लगता हूं, मेरी बात सुनके आपको एक मिनट को भी नही लगेगा की मैं दारू नही पीता और पियूंगा भी कैसे सारी तो भगवंत मान पी जाता है। अब क्योंकि सरकार मुझे खुद शांत नहीं करा पाई तो मुझे खुद ये जिम्मेदारी उठानी पड़ी और भ्रष्टाचार करना पड़ा जिससे ED मेरे पीछे पड़े और मुझे जेल में डाल कर शांति स्थापित करे, और हर बार की तरह मुझे इसका श्रेय भी नही चाहिए”।

बैंगन सूत्रों की माने तो केजरीवाल के इस बयान के बाद अब ED ही नहीं बल्कि नारकोटिक्स विभाग भी केजरीवाल को पकड़ने के लिए निकल चुका है। नार्कोटिक्स विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ऐसी माँग वो सूखे नशे लेकर ही कर सकते हैं।

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